मुंबई के NGO ने की बड़ी मांग
मुंबई की एनजीओ वॉचडॉग फाउंडेशन सीएम एकनाथ शिंदेसेऔर राज्य के परिवहन अधिकारियों से मांग की है कि शहर के ऑटो ड्राइवर से वो रेयर व्यू मिरर हटवाने का आदेश जारी करें। शिकायत में कहा गया है कि ऑटो में सवारी करने वाली कई महिलाएं खासतौर पर युवा लड़कियां ऑटो में अकेले यात्रा करने के दौरान खुद को असहज महसूस करती हैं क्योंकि इस दौरान रेयर व्यू मिरर से ऑटो चालक उन्हें घूरना शुरू कर देते हैं। वॉचडॉग फाउंडेशन ने कहा कि आरटीओ को रेयर व्यू मिरर वाले ऑटो की पहचान के लिए एक अभियान चलाना चाहिए और जिन ऑटो में ऐसे मिरर लगे हों उसे हटाना चाहिए।
वॉचडॉग फाउंडेशन एनजीओ के वकील गोडफ्रे पिमेंटा ने कहा कि कुछ महिलाओं ने हमारे मुवक्किल को बताया कि कई बार ऑटो में यात्रा के दौरान चालक उन्हें रेयर व्यू मिरर से लगातार घूरते रहते थे। ये चीजें उन्हें काफी असहज कर देती है। उन्होंने कहा कि इससे दुर्घटना भी होती है क्योंकि चालक का ध्यान भटकता है और हादसे होते हैं। सीएम को लिखे पत्र में एनजीओ ने मांग की है फोर व्हीलर की तरह ऑटो में रेयर व्यू मिरर की जरूरत नहीं होती है क्योंकि ऑटो के दायें और बायें तरफ बड़ा शीशा लगा होता है। साइड मिरर के जरिए चालक अपनी तरफ आती वाहनों को देख सकता है। नियमों के अनुसार, मिरर की चौड़ाई 3 इंच से ज्यादा नहीं होनी चाहिए जबकि इसकी अधिकतम लंबाई 12 इंच तक हो सकती है। उधर, आरटीओ के अधिकारियों ने कहा कि वह इस मामले को देख रहे हैं।
14 सेकेंड से ज्यादा घूरने पर सजा
आईपीसी के सेक्शन 354 के तहत अगर कोई शख्स 14 सेकेंड से ज्यादा किसी महिला को घूरता है तो उसे जेल की हवा खानी पड़ सकती है। इसमें किसी महिला का पीछा करना। फब्तियां कसना जैसी चीजें भी शामिल हैं। सेक्शन 354एबीसी में किए गए संशोधन के बाद अगर कोई शख्स आपको 14 सेकेंड से ज्यादा समय तक घूरता है तो यह अपराध है। इसके अलावा कोई अगर आपका पीछा करता है तो वो भी अपराध है।